उत्तराखण्ड; मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने केंद्र को पत्र लिखा था, जिसके जवाब में केंद्रीय सहकारिता मंत्री अमित शाह ने कहा कि राज्य केंद्र सरकार की पैक्स कंप्यूटरीकृत योजना का सीधा लाभ उठा सकता है। इसमें राष्ट्रीय स्तर के सॉफ्टवेयर के साथ हार्डवेयर खरीद, लीगेसी डाटा का डिजिटलीकरण, मेंटेनेंस सपोर्ट इत्यादि की सुविधा उपलब्ध है। इससे उत्तराखंड सरकार को प्रति एमपैक्स 5.60 लाख रुपये व्यय करने की तुलना में 1.20 लाख रुपये खर्च कर बेहतर हार्डवेयर, सॉफ्टवेयर सहित तमाम सुविधाएं उपलब्ध हो सकेंगी।
मिली जानकारी के अनुसार, केंद्रीय सहकारिता मंत्री अमित शाह ने कहा कि राज्य केंद्र सरकार की पैक्स कंप्यूटरीकृत योजना का सीधा लाभ उठा सकता है। इसमें राष्ट्रीय स्तर के सॉफ्टवेयर के साथ हार्डवेयर खरीदए लीगेसी डाटा का डिजिटलीकरणए मेंटेनेंस सपोर्ट इत्यादि की सुविधा उपलब्ध है।
केंद्र सरकार ने राज्य के सहकारिता विभाग की योजना को झटका दे दिया है। राज्य की ओर से बहुउद्देशीय सहकारी समितियां (एमपैक्स) को कंप्यूटरीकृत करने के लिए प्रति समिति 5.60 लाख रुपये की डिमांड भेजी थी, लेकिन केंद्र ने कहा कि 1.20 लाख रुपये से ही काम चलाओ
तेलंगाना और उत्तराखंड ऐसे राज्य हैं, जहां बहुउद्देशीय सहकारी समितियों के कंप्यूटराइजेशन का कार्य पिछले ढाई साल से चल रहा है। उत्तराखंड में कुल 670 में 108 एमपैक्स का कंप्यूटरीकरण किया जा चुका है। शेष सहकारी समितियों को कंप्यूटरीकृत करने के लिए राज्य की ओर से प्रति समिति 5.60 लाख रुपये की डिमांड भेजी जा रही थी। उधर, सहकारिता मंत्री डॉ. धन सिंह रावत ने कहा कि उन्हें इस पत्र की कोई जानकारी नहीं है।
संपादन: अनिल मनोचा