देहरादून: मुख्य सचिव ने राज्य में भारी बारिश को लेकर कमिश्नर गढ़वाल और कुमाऊं सहित सभी जिलाधिकारियों को तैयार रहने के निर्देश दिए हैं। इसके साथ ही सभी विभागों को आपसी समन्वय बनाकर कार्य करने को कहा है। उन्होंने लोगों से अनावश्यक बाहर नहीं निकलने की अपील है।
सोमवार को मुख्य सचिव डॉ.एस.एस.संधू ने राज्य आपातकालीन परिचालन केंद्र एवं सभी जिला आपातकालीन परिचालन केंद्रों में सभी विभागों द्वारा सक्षम स्तर के नोडल अधिकारियों को तैनात किए जाने के निर्देश दिए ताकि आपदा जैसी परिस्थितियों में नोडल अधिकारी निर्णय लेने एवं निर्देश देने के लिए अधिकृत हों।
मुख्य सचिव ने वर्षाकाल के दौरान आपदा जैसी परिस्थितियों के लिए चिन्हित खाद्यान्न गोदामों में खाद्यान्न की समुचित मात्रा की उपलब्धता सुनिश्चित करने को कहा है। दुर्गम स्थलों में दूरसंचार व्यवस्था सुचारु बनाए रखने के लिए एसडीआरएफ की ओर से उपलब्ध कराए गए सेटेलाइट फोन्स को भी एक्टिव रखने के निर्देश दिए। आपदा प्रभावितों को खाद्यान्न एवं पेयजल आपूर्ति की व्यवस्था के साथ ही पशुओं के चारे आदि को भी समय से प्रबंधन करने को कहा है। साथ ही, पैरामेडिकल स्टाफ, दवाइयों एवं आवश्यक उपकरणों की समुचित मात्रा सुनिश्चित करने की बात कही है।
मुख्य सचिव ने जनसामान्य और चार धाम यात्रा एवं कांवड़ यात्रा श्रद्धालुओं से मौसम के अनुसार ही निकलने की सलाह दी है। उन्होंने आपदा की स्थिति में बल्क एसएमएस की भी व्यवस्था बनाने के निर्देश दिए। उन्होंने जरूरत पड़ने पर हेलीकॉप्टर की व्यवस्था बनाने के लिए कहा।
मुख्य सचिव के निर्देश पर सचिव आपदा प्रबंधन डॉ. रंजीत कुमार सिन्हा की ओर से सभी जिलाधिकारियों एवं आपदा से सम्बन्धित विभागाध्यक्षों से वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से उनके स्तर पर की गई तैयारियों के संबंध में विचार विमर्श कर की गई व्यवस्थाओं की समीक्षा की। सचिव आपदा प्रबंधन ने मैदानी जिलों के जिलाधिकारियों से बाढ़ चौकियों के साथ बाढ़ नियंत्रण टीमों के गठन के साथ ही आवश्यकता के दृष्टिगत बोट आदि की व्यवस्था सुनिश्चित करने को कहा।
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