देहरादून; जिला अस्पताल कोरोनेशन में पेयजल निगम के रिटायर्ड डिविजनल अकांउटेंट अपनी पत्नी के पथरी के ऑपरेशन के लिए धक्के खाकर थक गए। कई दिन तक उनकी पत्नी की बेहोशी तक की जांच नहीं हो पाई। उन्होंने पीएमएस से लापरवाह डाक्टरों पर कार्रवाई की मांग उठाई है।
मिली जानकारी के अनुसार, निगम कर्मचारी महासंघ के संस्थापक अध्यक्ष रहे आराघर मॉडल कॉलोनी निवासी दिनेश चंद्र भंडारी ने एक शिकायत दी है। उसके मुताबिक वह अपनी 64 वर्षीय पत्नी पुष्पा भंडारी को 14 सितंबर को एक सर्जन के पास उल्टी, पेट में दर्द की शिकायत पर ले गए। अल्ट्रासाउंड के बाद किडनी में सिस्ट एवं गॉल ब्लडर में पथरी निकली। डॉ. ने भर्ती की सलाह दी, तीन बजे फीस कटने के बाद साढ़े छह बजे बेड मिला। तीन दिन इमरजेंसी में भर्ती कर जांच कराई गई। एनेस्थीसियोलॉजिस्ट (बेहोशी के डाक्टर) से जांच के लिए तीन दिन तक भटके, लेकिन समय नहीं मिला। 19 सितंबर को कहा कि वह अकेले है, तुम ही डाक्टर की व्यवस्था कर दों। पीएमएस के दखल से 21 सितंबर को 11 बजे मिलने के लिए कहा। एक बजे डाक्टर मिले, फिर कह दिया अगले दिन आना। मरीज की स्थिति गंभीर होने पर व्यस्त होने की बात कही। बताया गया कि ऑपरेशन करने वाले डाक्टर अब लंबी छुट्टी पर है। पीएमएस से मुलाकात कर कहा कि वह तो कर्ज लेकर या गहने बेचकर ऑपरेशन करा लेंगे। लेकिन आयुष्मान कार्ड का क्या फायदा और गरीब मरीज क्या यूं ही धक्के खाते रहेंगे? मरीज को ज्यादा परेशानी पर अब निजी अस्पताल में दिखा रहे हैं। कहा कि यदि जांच कर कोई कार्रवाई नहीं हुई, तो सचिव एवं मंत्री से शिकायत की जाएगी।
पिछले नौ सितंबर को वह परेशानी होने पर रात को ढ़ाई बजे अस्पताल ले गए थे। आरोप है कि यहां पर दो पुरूष एवं एक महिला डाक्टर की ड्यूटी थी। लेकिन काफी समय तक डाक्टर नहीं आए। फार्मासिस्ट ने इंजेक्शन दिए लेकिन आराम नहीं लगा। महिला डाक्टर आई तो उन्होंने मेडिकल कॉलेज ले जाने को कह दिया। इस संबंध में शिकायत पीएमएस से भी की गई।
पीएमएस डा. शिखा जंगपांगी की ओर से एक सूचना जारी की, जिसे ओटी एवं वार्डों में लगवा दिया है। उसमें कहा गया है कि ऑपरेशन से पहले मरीजों की बेहोशी की जांच के लिए एनेस्थेटिस्ट डाक्टर द्वारा हर दिन नौ से दस के बीच की जाएगी। उसके बाद ऑपरेशन का कार्य किया जाएगा। बेहोशी की जांच डाक्टर द्वारा ओटी रोस्टर के मुताबिक की जाएगी। उधर, जिन डाक्टरों के संबंध में शिकायत की गई है, उनसे जवाब मांगा गया है।