मिली जानकारी के अनुसार, डीएम की अध्यक्षता में ऋषिपर्णा सभागार में हुई जनसुनवाई में 69 शिकायतें दर्ज कराई गई, जिसमें कई शिकायतों को मौके पर ही निस्तारित किया गया। अधिकतर शिकायतें भूमि कब्जाने, अतिक्रमण, प्रधानमंत्री आवास योजना के अंतर्गत आवास दिलाने, आर्थिक सहायता दिलाने, सड़क ठीक कराने, भूमि अभिलेखों में नाम दुरुस्तीकरण करवाने, राज्य आंदोलनकारियों की सूची में चिन्हीकरण से संबंधित थी। कई श्रमिकों ने शिकायत दर्ज कराई कि फैक्टरी में कार्यरत कार्मिकों को ओवर टाइम का भुगतान नहीं किया जा रहा है। डीएम ने एसडीएम और श्रम विभाग के अफसरों को फैक्टरियों की जांच करने के आदेश दिए। उन्होंने एसडीएम को निर्देश दिए कि सेवानिवृत्त कर्मियों के देयकों का भुगतान 15 दिन तथा पेंशन प्रकरण को एक माह के भीतर निस्तारित कराएं।
डीएम ने भूमि धोखाधड़ी एवं फर्जीवाड़ा करते हुए खरीद फरोख्त करने वालों पर गुंडा एक्ट संग गैंगस्टर की कार्रवाई के आदेश एसडीएम को दिए। शराब की ओवर रेटिंग की शिकायतों का संज्ञान लेते हुए उन्होंने जिला आबकारी अधिकारी को कार्रवाई की हिदायत दी। उन्होंने अनाज वितरण की चेकिंग के भी आदेश दिए। सरकारी अस्पतालों के डाक्टरों द्वारा बाहर की दवाएं लिखने की शिकायत पर एसडीएम, स्वास्थ्य विभाग के अफसरों को जांच के निर्देश दिएं। इस मौके पर सीडीओ झरना कमठान, एडीएम डॉ. शिव कुमार बरनवाल, एडीएम केके मिश्रा, परियोजना निदेशक ग्राम्य विकास अभिकरण आरसी तिवारी, नगर मजिस्ट्रेट कुश्म चौहान, जिला विकास अधिकारी सुशील मोहन डोभाल, डीपीआरओ एमएम खान, डीएसओ विपिन कुमार आदि मौजूद थे।