उत्तराखण्ड; विधानसभा सचिवालय में अब कर्मचारियों की भर्ती में मनमानी नहीं चलेगी। इसके लिए विधानसभा भर्ती एवं सेवा नियमावली में संशोधन का प्रस्ताव तैयार कर मंजूरी के लिए शासन को भेजा गया है। नियमावली में अन्य विभागों की तर्ज पर विधानसभा सचिवालय में खाली पदों की भर्ती लोक सेवा आयोग व अधीनस्थ सेवा चयन आयोग के माध्यम से कराने का प्रावधान किया जा रहा है।
इसके अलावा जरूरत के हिसाब से पदों का ढांचा भी निर्धारित किया जाएगा। विधानसभा अध्यक्ष ऋतु खंडूड़ी भूषण ने नियम विरूद्ध तदर्थ नियुक्तियों के खिलाफ सख्त कदम उठाया था। जिसमें 2016 से 2021 में तदर्थ आधार पर नियुक्त 228 कर्मचारियों की विशेषज्ञ जांच कमेटी की रिपोर्ट के आधार पर सेवाएं समाप्त की गई।
भविष्य में विधानसभा सचिवालय में होने वाली नियुक्तियां नियम व पारदर्शिता हो। इसके लिए स्पीकर ने नियमावली में संशोधन की पहल की थी। विधानसभा सचिवालय में भर्ती एवं सेवा नियमावली में संशोधन का प्रस्ताव तैयार कर शासन को भेज दिया है।